शानदार औसत से रन बनाने वाले ये 3 खिलाड़ी आज तक अपनी टीम के लिए नहीं लगा सके 1 भी शतक, लिस्ट में एक भारतीय भी शामिल


अपने देश के लिए या फिर अपनी टीम के लिए शतक लगाना हर एक खिलाड़ी का सपना होता है, लगातार ऐसा करने वाले खिलाड़ियों को दिग्गज खिलाड़ियों में गिना जाता है। सचिन तेंदुलकर को क्रिकेट का भगवान कहा जाता है, उनके नाम पर सबसे ज्यादा शतक बनाने का रिकार्ड है। सचिन तेंदुलकर ने 100 शतक बनाए हैं। तो वहीं ऑस्ट्रेलिया के पूर्व खिलाड़ी रिकी पोंटिंग के नाम 71 शतक हैं। वर्तमान में विराट कोहली के नाम पर 70 शतक है।

आज हम आपको ऐसे तीन जाने माने क्रिकेटर्स के बारे में बताने जा रहें हैं, जोकि विश्व में क्रिकेट के दम पर अपनी पहचान रखते हैं। फिर इन खिलाड़ियों के नाम पर तीनों फॉर्मेट में एक भी शतक नहीं है। जानिए कौन हैं वो टीम खिलाड़ी, लिस्ट में एक भारतीय खिलाड़ी भी है शामिल…

निरोशन डिकवेला ( Niroshan Dickwella)

श्रीलंका क्रिकेट टीम के 29 साल के विकेटकीपर बल्लेबाज निरोशन डिकवेला ( Niroshan Dickwella) को उनके स्ट्राइक बल्लेबाजी के लिए जाना जाता है। वो अपनी टीम के लिए 49 इंटरनेशनल टेस्ट मैच खेल चुके हैं। जिसमें उनके नाम पर 32.52 की औसत से 2602 रन दर्ज हैं। लेकिन हैरानी की बात ये है कि उनके नाम पर एक भी शतक नहीं है। उनका बेस्ट स्कोर 96 है। जबकि वन डे इंटरनेशनल में दो शतक बना चुके है।

सैम करन ( Sam Curran)

इंग्लैंड क्रिकेट टीम के 24 साल के ऑलराउंडर खिलाड़ी सैम करन अपनी बल्लेबाजी से कुछ ही गेंद में बाजी पलटने के लिए जाने जाते हैं। उन्होंने टेस्ट में में इंग्लैंड के लिए 25 टेस्ट मैच में 38 पारियों मे 25.7 की औसत के साथ 815 रन बनाए हैं। लेकिन इसमें खिलाड़ी के नाम पर एक भी शतक नहीं है। जबकि उनका बेस्ट स्कोर 95 का है। वहीं उनके नाम कर क्रिकेट के तीनों फॉर्मेट में भी एक भी शतक नहीं है।

रविंद्र जडेजा ( Ravindra Jadeja)

भारतीय ऑल राउंडर खिलाड़ी रविंद्र जडेजा जिन्हें कुछ ही बॉल में खेल बदलने के लिए जाना जाता है। 33 साल के रविंद्र जडेजा भारतीय क्रिकेट टीम के तीनों फॉर्मेट टीम का हिस्सा हैं। लेकिन शतक की बात करें तब उन्होंने टेस्ट क्रिकेए मात्र दो शतक बनाए हैं।

वनडे क्रिकेट में 168 मैच खेलकर 2411 रन बनाए हैं, जिसमें 87 उनका हाई स्कोर है। तो वहीं 57 टी20 मैच में 326 रन बनाए हैं। इसमें खिलाड़ी का बेस्ट स्कोर 45 नाबाद है। यानी क्रिकेट के सबसे छोटे प्रारूप में एक अर्धशतक भी नही है।

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